6 जून, 2016
'एकीकृत जल संभर प्रबंधन' शीर्षक पर पांच दिवसीय (06-10 से जून, 2016) लघु प्रशिक्षण कार्यक्रम भाकृअनुप– भारतीय मृदा एवं जल संरक्षण संस्थान (आईआईएसडब्ल्यूसी), देहरादून में आयोजित किया गया। यह प्रशिक्षण कार्यक्रम कृषि एवं खाद्य उत्पादन निदेशालय, भुबनेश्वर, ओडिशा द्वारा प्रायोजित किया गया।
डॉ. पी. के. मिश्रा, निदेशक, भाकृअनुप- आईआईएसडब्ल्यूसी ने वर्षा जल संचयन, कम सिंचाई द्वारा अधिक उत्पादन, जलसंभर क्षेत्र में आजीविका सुरक्षा और किसानों के सामाजिक-आर्थिक उत्थान के लिए प्राकृतिक संसाधनों के सतत उपयोग के बारे में जानकारी दी।
प्रशिक्षण की पाठ्यक्रम सामग्री में एकीकृत जलसंभर प्रबंधन दृष्टिकोण, मानचित्र अध्ययन, लक्षण व जलसंभर चित्रण, जलसंभर मूल्यांकन, जलसंभर योजना में रिमोट सेंसिंग और जीआईएस का उपयोग और तकनीक आधारित कक्षाओं के सत्र आदि शामिल थे।
प्रतिभागियों ने संस्थान के संग्रहालय, अनुसंधान खेत, सेलाकुई, कालीमाटी में भागीदारी, जल संसाधन प्रबंधन परियोजना और मसूरी के नजदीक सैनजी जलसंभर जैसे स्थलों का दौरा किया। इस दौरे का उद्देश्य प्रतिभागियों में विषय की गहराई को समझने के लिए अंतर्दृष्टि विकसित करना था।
ओडिशा के 14 जिलों के 20 अधिकारियों ने इस कार्यक्रम में भाग लिया।
(स्रोत: भाकृअनुप – भारतीय मृदा एवं जल संरक्षण संस्थान, देहरादून)
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