'पशु पोषण और प्रजनन प्रबंधन में हालिया तकनीकों' पर प्रशिक्षण कार्यक्रम का हुआ समापन

'पशु पोषण और प्रजनन प्रबंधन में हालिया तकनीकों' पर प्रशिक्षण कार्यक्रम का हुआ समापन

21 जून, 2019, बेंगलुरु

भा.कृ.अनु.प.-राष्ट्रीय पशु पोषण एवं शरीर क्रिया विज्ञान संस्थान, बेंगलुरु द्वारा अपने परिसर में आयोजित 'पशु पोषण और प्रजनन प्रबंधन में हालिया तकनीकों' पर पाँच दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम आज संपन्न हुआ।

राष्ट्रीय कृषि विस्तार प्रबंधन संस्थान (मैनेज), हैदराबाद द्वारा प्रायोजित कार्यक्रम 17 से 21 जून, 2019 तक आयोजित किया गया था।

डॉ. के. टी. संपत, पूर्व निदेशक, भा.कृ.अनु.प.-राष्ट्रीय पशु पोषण एवं शरीर क्रिया विज्ञान संस्थान, बेंगलुरु ने समापन समारोह में बतौर मुख्य अतिथि पशुधन उत्पादकता में सुधार के लिए किसानों के बीच प्रभावी प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में अनुप्रयोग और प्रसार की आवश्यकता पर जोर दिया।

   

Dr. K.T. Sampath    ICAR-National Institute of Animal Nutrition and P /></p>
hysiology, Bengaluru 

NIANP-Release of compendium at MANAGE sponsored training

डॉ. एम. टी. मंजुनाथ, निदेशक, पशुपालन और पशु चिकित्सा सेवाएँ, कर्नाटक सरकार ने इससे पहले प्रशिक्षण कार्यक्रम का उद्घाटन किया।

डॉ. राघवेंद्र भट्टा, निदेशक, भा.कृ.अनु.प.-राष्ट्रीय पशु पोषण एवं शरीर क्रिया विज्ञान संस्थान, बेंगलुरु ने उत्पादन की दक्षता में सुधार करने के लिए पशुधन के चारा और प्रजनन प्रबंधन के महत्त्व को रेखांकित किया। संस्थान द्वारा विकसित विभिन्न तकनीकों पर प्रकाश डालते हुए डॉ. भट्टा ने पशुपालकों के बीच प्रौद्योगिकियों को प्रभावी ढंग से स्थानांतरित करने में क्षेत्र के पशु चिकित्सकों की महत्त्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया।

कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य पशुपालन और डेयरी सहकारिता विभाग में कार्यरत जिला स्तरीय पशु चिकित्सा अधिकारियों को लाभान्वित करना था।

कार्यक्रम के मुख्य बिंदु:

  1. चारा फसलों और चारे के पेड़ों की नई किस्मों का कृषि शास्त्रीय प्रबंधन।
  2. पशुओं के लिए वैकल्पिक चारा संसाधन, चारे का संरक्षण, हीड्रोपोनिक्स (जलकृषि) और अजोला की खेती।
  3. पोषण प्रबंधन, उम्दा आहार और संतुलित भोजन।
  4. ग्रीनहाउस गैसों के लिए अम्लीकरण रणनीति।
  5. पशुधन की उत्पादकता में सुधार के लिए तनाव प्रबंधन।
  6. बेहतर उत्पादकता के लिए आश्रय प्रबंधन।
  7. प्रजनन क्षमता और साँड़ का प्रबंधन।
  8. प्रारंभिक भ्रूण मृत्यु दर और रोकथाम रणनीतियाँ।
  9. महिला प्रजनन में हालिया प्रगति।

कार्यक्रम में विभिन्न राज्यों के लगभग 25 प्रतिभागियों ने भाग लिया।

(स्रोत: भा.कृ.अनु.प.-राष्ट्रीय पशु पोषण एवं शरीर क्रिया विज्ञान संस्थानबेंगलुरु)

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