30 जनवरी, 2024, उमियम, मेघालय
भारत सरकार के केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण राज्य मंत्री श्री कैलाश चौधरी ने आज एनईएच क्षेत्र, उमियाम के लिए भाकृअनुप अनुसंधान परिसर का दौरा किया। उनकी यात्रा का उद्देश्य संस्थान के वैज्ञानिकों, किसानों तथा कर्मचारियों के साथ एक इंटरैक्टिव सत्र में शामिल होना था।
मुख्य अतिथि, श्री चौधरी ने कहा कि एक वैज्ञानिक के लिए सबसे खुशी का पल वह होता है जब उनकी किस्में या तकनीक किसानों के खेतों तक पहुंचती हैं। केन्द्रीय मंत्री ने प्रभावी ढंग से संचालित होने पर किसानों के सामने आने वाली कई विपणन समस्याओं को हल करने में किसान उत्पादक संगठनों की क्षमता पर भी जोर दिया। उन्होंने आगे कहा कि उर्वरक, सेंसर-आधारित कृषि, ड्रिप सिंचाई आदि के लिए ड्रोन तकनीक की शुरुआत बदलाव के समय का संकेत देती है, जिसमें विकसित भारत के लिए वैज्ञानिकों और किसानों के बीच सहयोग की आवश्यकता है।
डॉ. वी.के. मिश्रा, निदेशक, भाकृअनुप-आरसी एनईएच ने संस्थान की प्रमुख उपलब्धियों के बारे में जानकारी दी।
डॉ. ए.के. मोहंती, निदेशक, भाकृअनुप-कृषि प्रौद्योगिकी अनुप्रयोग अनुसंधान संस्थान जोन VII, उमियाम ने विभिन्न कृषि विज्ञान केन्द्रों (केवीके) की कार्य प्रणाली के बारे में बात की। उन्होंने कहा कि उनका प्राथमिक कार्य किसानों के खेतों तक प्रौद्योगिकियों को पहुंचाना तथा इसका प्रदर्शन करना है।
बाद में मंत्री ने किसानों को कृषि उपकरण और बीज वितरित किये। उन्होंने किसानों के लिए ड्रोन तकनीक का प्रदर्शन किया और कृषि क्षेत्र में इसके महत्व के बारे में जानकारी दी।
(स्रोत: भाकृअनुप-एनईएच क्षेत्र के लिए अनुसंधान परिसर, उमियम, मेघालय)
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