विज़न
भारत को खाद्य और पोषण सुरक्षा प्रदान करने के लिए पशुधन और मुर्गीपालन में उत्पादन बढ़ाना, लाभ, प्रतिस्पर्धा और टिकाऊपन को बनाये रखने के लिए प्रौद्योगिकी विकास।
मिशन
पशुधन और मुर्गीपालन के क्षेत्र में कार्यरत और उभरते क्षेत्रों में आवश्यकता आधारित अनुसंधान की सुविधा प्रदान करते हुए उत्पादन में वृद्धि, क्षमता और वास्तविक उत्पादन के फर्क को कम करना और देश को वैश्विक चुनौतियों के लिए तैयार करना।
प्राथमिकता वाले क्षेत्र
- देसी पशुधन संसाधनों के मॉलीकेयूलर सिग्नेचर्स
- प्रजनन दक्षता एवं भ्रूणीय हानि में सुधार
- रोग प्रबन्धन क्षमता के लिए चिह्नक सहायक चयन द्वारा आनुवंशिक प्रतिरोधिता बढ़ाना
- भैंस और बकरी जीनोमिक्स
- पशु स्वास्थ्य और उत्पादन के लिए स्टेम कोशिका अनुसंधान
- निम्न गुणवत्ता के अपशिष्ट का इन विवो और इन विट्रो तरीके से उपयोग में सुधार
- पशुओं के सूक्ष्मपोषण स्तर आकलन के लिए बायोकैमिकल मार्कर
- न्यूट्रीजीनेामिक्स, न्यूट्रास्यूटीकल, फंक्शलन फूड
- पोषण उपयोगिता बढ़ाने के लिए प्रोबायोटिक्स/प्रीबायोटिक्स
- पशुधन से निकलने वाली ग्रीन हाऊस गैस का प्रबंध करना
- शैल्टर प्रबंधन द्वारा जलवायु परिवर्तन की अनुकूल रणनीति
- बायोटैक और नैनोटैक टूल्स द्वारा विभिन्न रोगों के लिए नैदानिक और बचाव तकनीकों का विकास करना
- डीएनए वैक्सीन तैयार करना
- विदेशी रोगों की निगरानी और उत्तरजीवितिता प्राणिरूजा (जूनोटिक) रोग
- नई पीढ़ी की और देसी दवाइयां बनाने के लिए फार्माकोजीनीमिक्स
- फार्मास्यूटिकल/न्यूट्रास्यूटिकल उत्पादन के लिए पराजीनी मुर्गियां और सूअर
- अजैविक दबाव और आणविक चिह्नक के विकास के लिए एलील माइनिंग
- पर्यावरणीय और औद्योगिक प्रदूषक; माइकोटॉक्सिन और ड्रग अवशेष का अपशिष्ट विश्लेषण।
- पशुधन और मुर्गी उत्पाद का मूल्य संवर्धन, शेल्फ लाइफ बढ़ाना और गुणवत्ता सुधार के लिए प्रौद्योगिकी का विकास और सुधार
फेसबुक पर लाइक करें
यूट्यूब पर सदस्यता लें
X पर फॉलो करना X
इंस्टाग्राम पर लाइक करें