25 सितम्बर, 2022
नदियों के बारे में जन जागरूकता बढ़ाने और उनके संरक्षण को प्रोत्साहित करने के लिए हर साल सितंबर के चौथे रविवार को विश्व नदी दिवस मनाया जाता है। विश्व नदी दिवस का विषय "जैव विविधता के लिए नदियों का महत्व" था।
भाकृअनुप-केन्द्रीय अंतर्देशीय मात्स्यिकी अनुसंधान संस्थान, बैरकपुर ने आज तीन अलग-अलग स्थानों मुख्य रूप से करेला बाग घाट, प्रयागराज, उत्तर प्रदेश और सोनिया विहार, दिल्ली में यमुना नदी के तट पर और कोडलबस्ती, सुभासिनी क्षेत्र जलदापारा राष्ट्रीय उद्यान परिसर, पश्चिम बंगाल में तोर्शा में 'विश्व नदी दिवस' मनाया।


डॉ. धर्म नाथ झा, प्रभारी वैज्ञानिक, भाकृअनुप-सीआईएफआरआई के प्रयागराज केन्द्र ने जोर देकर कहा कि नदियां प्रकृति की देन हैं जिसमें जैव विविधता का पोषण और संरक्षण होता है, इसलिए इसे बनाए रखने के लिए निरंतर प्रयास करना चाहिए, इसके लिए उपयोग नदियों के जलग्रहण क्षेत्रों में कीटनाशकों और प्लास्टिक को कम किया जाना चाहिए।
प्रयागराज नगर निगम के करेला बागवार्ड के पार्षद, श्री नंदलाल निषाद नंदा ने नदियों में जल एवं मत्स्य संरक्षण पर ध्यान देने का आग्रह किया। उन्होंने किशोर मछलियों के संरक्षण और बड़े आकार के जाल के उपयोग की आवश्यकता पर बल दिया।
राष्ट्रीय स्वच्छ गंगा मिशन (नमामि गंगे) के प्रतिनिधि, श्री राजेश शर्मा, डॉ. अबसार आलम, डॉ. वेंकटेश रामाराव ठाकुर, वैज्ञानिकों ने भी लोगों से बातचीत की और जैव विविधता के महत्व और किए जाने वाले उपायों की जानकारी दी।
सभी प्रतिभागियों को नदियों को स्वच्छ रखने का संकल्प भी दिलाया गया।
इस अवसर पर नदी के किनारे रहने वाले मछुआरों, व्यापारियों, स्नानार्थियों और छात्रों सहित 100 से अधिक व्यक्तियों ने भाग लिया और अपने विचार व्यक्त किए।
पश्चिम बंगाल के जलदापारा राष्ट्रीय उद्यान परिसर में तोर्षा नदी के तट पर कोडालबस्ती और सुभाषिनी में स्थानीय लोगों को नदी संरक्षण के विभिन्न पहलुओं के बारे में बताया गया।
कार्यक्रम में मछुआरों सहित लगभग 50 व्यक्तियों ने भाग लिया।
(भाकृअनुप-केन्द्रीय अंतर्देशीय मत्स्य अनुसंधान संस्थान, बैरकपुर)
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