25 सितम्बर, 2025, कोलकाता
भाकृअनुप-कृषि प्रौद्योगिकी अनुप्रयोग अनुसंधान संस्थान, कोलकाता द्वारा 'स्वच्छता ही सेवा - 2025' विषय पर 'स्वच्छोत्सव' अभियान के अंतर्गत 'सफाई मित्र सुरक्षा शिविर' का आयोजन किया। यह आयोजन एक सामाजिक उत्तरदायित्व का प्रतीक ही नहीं, बल्कि यह एक संवेदनशील और कलात्मक पहल भी है जो स्वच्छता तथा सम्मान के गहरे संबंध को उजागर करती है। साथ ही, यह शिविर सफाई कर्मचारियों के प्रति कृतज्ञता और उनके कल्याण के प्रति संस्थान की प्रतिबद्धता का एक सुंदर उदाहरण है।
डॉ. प्रदीप डे, निदेशक, भाकृअनुप-अटारी, कोलकाता ने अपने प्रेरक उद्बोधन में सफाई कर्मचारियों की भूमिका को राष्ट्र निर्माण की मजबूत आधारशिला बताया। उन्होंने स्पष्ट किया कि जिस प्रकार बाहरी स्वच्छता हमारी जिम्मेदारी है, उसी प्रकार आंतरिक स्वच्छता बनाए रखना भी अनिवार्य है। उनका यह विचार न केवल गहन आध्यात्मिक दृष्टिकोण को सामने लाता है, बल्कि हमें इस पर सोचने के लिए भी प्रेरित करता है। निदेशक ने कहा जो कर्मवीर प्रतिदिन समाज को स्वच्छ रखने का कार्य करते हैं, उनके प्रति हमारे उत्तरदायित्व क्या होने चाहिए।
शिविर के दौरान सफाई मित्रों को फल की टोकरी और व्यक्तिगत सुरक्षा सामग्री, जैसे- दस्ताने, मास्क और साबुन—प्रदान करना केवल उनके स्वास्थ्य की रक्षा का उपाय नहीं था, बल्कि उनके अमूल्य योगदान की हार्दिक सराहना भी थी। यह पहल स्वच्छता की महत्ता को संवेदनशीलता और प्रतीकात्मकता के साथ अभिव्यक्त करती है और यह संदेश देती है कि बेहतर समाज की ओर बढ़ने का पहला कदम स्वच्छता के प्रति जागरूकता है।
डॉ. एस.के. मंडल, प्रधान वैज्ञानिक ने कार्यक्रम का संचालन किया तथा संस्थान का स्वच्छता अभियान में अब तक की उपलब्धियों का संक्षिप्त विवरण दिया।
संस्थान के सभी वैज्ञानिकों, अधिकारियों एवं परियोजना कर्मचारियों ने बैठक में भाग लिया।
(स्रोत: भाकृअनुप-कृषि प्रौद्योगिकी अनुप्रयोग अनुसंधान संस्थान, कोलकाता)
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